बिहार : संघ-भाजपा की दाल यहां अकेले क्यों नहीं गल पाती है?
byपिछले आम चुनाव में बिहार में एक को छोड़कर सारी सीटें जीतने वाले एनडीए के पास इस बार बहुत कुछ पाने को नहीं है, लेकिन गिरने की गुंजाइश बरकरार है। नरेंद्र मोदी की 12 मई को पटना में होने वाली भव्य रैली संभव है इस गिरावट को थाम ले, लेकिन सवाल है कि मोदी लहर और हिंदुत्व के चरम उभार के दौर में भी बिहार में भाजपा को गठबंधन का सहारा क्यों लेना पड़ रहा है? क्या चीज भाजपा के लिए बिहार को हिंदी पट्टी में अपवाद बनाए हुए है? और क्या अगले साल अपने दम पर बिहार में भाजपा सरकार बना सकेगी? राहुल कुमार गौरव की पड़ताल